
हजारों ग्रामीणों ने उठाया निःशुल्क स्वास्थ्य शिविर का लाभ, स्वास्थ्य के प्रति बढ़ी जागरूकतातिल्दा नेवरा। ग्राम पंचायत कुथरैल एवं रैता में बुधवार, 29 अक्टूबर 2025 को संभव स्टील ट्यूब्स लिमिटेड के सौजन्य से एक विशाल निःशुल्क स्वास्थ्य परामर्श एवं उपचार शिविर का सफल आयोजन किया गया। इस पुनीत पहल में समता फाउंडेशन (एम.जी.एम. इंस्टीट्यूट) रायपुर और मोर हॉस्पिटल रायपुर के अनुभवी डॉक्टरों एवं स्वास्थ्य विशेषज्ञों की टीम ने अपनी सेवाएँ दीं, जिससे हजारों ग्रामीणों को लाभ मिला।शिविर सुबह से ही शुरू हुआ और देर शाम तक चलता रहा, जिसमें नेत्र जाँच, सामान्य स्वास्थ्य परीक्षण, खून की जाँच, ब्लड प्रेशर, शुगर टेस्ट, दवाइयों का वितरण और गंभीर रोगों से संबंधित परामर्श जैसी महत्वपूर्ण सेवाएँ पूरी तरह निःशुल्क प्रदान की गईं।मोतियाबिंद के मरीजों के लिए आशा की नई किरणनेत्र विभाग द्वारा की गई जाँच में जिन ग्रामीणों में मोतियाबिंद पाया गया, उनके लिए निःशुल्क ऑपरेशन कराने की घोषणा की गई। इस घोषणा से कई बुजुर्गों और ग्रामीणों के चेहरों पर राहत और खुशी साफ झलक उठी। ग्रामीणों ने बताया कि कमजोर आर्थिक स्थिति के कारण वे ऑपरेशन नहीं करा पाते थे, ऐसे में यह पहल उनके लिए किसी वरदान से कम नहीं है।स्वास्थ्य जागरूकता पर विशेष ज़ोरसंभव स्टील ट्यूब्स लिमिटेड की सी.एस.आर. हेड श्रीमती शीतल गोयल ने ग्रामीणों को संबोधित करते हुए कहा कि “स्वास्थ्य सबसे बड़ा धन है।” उन्होंने ग्रामीण क्षेत्रों में बीमारी को समय पर न पहचान पाने की समस्या पर प्रकाश डाला और शिविर का उद्देश्य बताते हुए कहा कि सभी लोग स्वास्थ्य के प्रति जागरूक हों और समय–समय पर जाँच अवश्य कराएँ। उन्होंने नियमित स्वास्थ्य जाँच और संतुलित जीवनशैली अपनाने पर जोर दिया।ग्रामीणों में दिखा भारी उत्साहसंभव स्टील ट्यूब्स लिमिटेड की टीम द्वारा घर-घर जाकर, घोषणा और स्थानीय प्रतिनिधियों के सहयोग से सूचना पहुँचाई गई, जिसके परिणामस्वरूप भारी संख्या में ग्रामीण शिविर में शामिल हुए। ग्राम के बुजुर्गों, महिलाओं, युवाओं एवं बच्चों ने स्वास्थ्य जाँच का लाभ उठाया और विशेषज्ञों से परामर्श प्राप्त किया। ग्रामीणों ने इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि ऐसे शिविरों से उन्हें शहर जाकर पैसे खर्च करने की जरूरत नहीं पड़ती और सही समय पर बीमारी का पता चल जाता है।टीम के विशेष योगदान से सफल हुआ आयोजनस्वास्थ्य शिविर की सुचारू और सफल व्यवस्था में श्री एम.जी. के. मूर्ति, सुचिता जैन, लक्ष्मी देवांगन, सागर चेलक, राकेश कुमार और जितेन्द्र वर्मा का विशेष योगदान रहा। उनकी सक्रियता और समर्पण ने शिविर को व्यवस्थित और सफल बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।ग्रामीणों की सकारात्मक प्रतिक्रिया के बाद आयोजकों ने भविष्य में भी ऐसे शिविर नियमित रूप से आयोजित करने की संभावनाएँ व्यक्त की हैं, ताकि ग्रामीण अंचल में स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार हो सके और लोग स्वास्थ्य के प्रति और अधिक जागरूक बन सकें।






